दोहा छंद- कारगिल युद्ध
विजय दिवस विशेष रचना
घुसपैठी मन पाक के, घुस गिन जब कश्मीर।
भारतीय टुकड़ी हमर, देइन उन ला चीर।।
विजय पाय बर युद्ध मा, दउँड़िन सीना तान।
कतको सैनिक देश बर, खो दिन तुरते प्रान।।
धाँय-धाँय गोली चलिस, आइस मउका फेर।
मार गिराइन खोज के, बइरी मन ला घेर।।
बड़े-बड़े उन तोप ले, करत रहिन जब वार।
तभो कारगिल युद्ध मा, नइ पाइन गा पार।।
बम बारी होवत रहिस, दुश्मन होगिन ढ़ेर।
वीर सिपाही काल बन, गरजँय बब्बर शेर।।
याद करव संगी तुमन, महायुद्ध के बात।
भागिस पल्ला पाक हा, खाइस जभ्भे मात।।
मुकेश उइके "मयारू"
ग्राम- चेपा, पाली, कोरबा(छ.ग.)
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