दोहा-वासन्ती वर्मा
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माता अमरौतिन हवे,ददा महंगूदास ।
गिरौदपुरी मा जनमें,बाबा घासीदास ।।
जनमें दिसंबर अठरा,पंथ प्रवर सतनाम ।
घासीदास प्रसिध हुए,गिरौदपुरी म धाम ।।
औंरा धौंरा पेड़ के,तरी म पाइन ज्ञान ।
घासीदास बनिन गुरू,देइन सत के ज्ञान ।।
बाबा घासीदास जी,देंवय सत उपदेश ।
छोड़व मदिरा माँस ला,कहिन बने संदेश ।।
जैतखाम बड़का बने,गिरौदपुरी म धाम।
सादा झंडा ह फहरे,मान बढ़े सतनाम ।।
गुरूधाम गिरौदपुरी,भक्तन के हे भीड़ ।
पूजैं घासीदास ला,चेला मन के नीड़ ।।
👏👏👏वसन्ती वर्मा👏👏
बिलासपुर
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