विधान- मंदारमाला सवैया
*मंदारमाला सवैया-7 पइत* *तगण +गुरु*
(221×7+2)
चारो पद के अंत मा तुकांत
बोझा उठाके पढ़ाना लिखाना
221, 221, 221 ,22
दिखे मीठ खाये म लागे करू
1, 221, 221, 221,2
उदाहरण
बोझा उठाके पढ़ाना लिखाना दिखे मीठ खाये म लागे करू।
कालेज ब्यौपार के आज अड्डा जिहाँ फीस बस्ता दुनो हे गरू।
आवै कहाँ सीख के गाँव मा लाट साहेब साही फिरै बोंदरू।
का फायदा देख पावै नही ओह माँ बाप के पाँव के गोखरू।
अरुण कुमार निगम
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